मुश्किलों से सीखा कैसे
निपटना ,
आग से सीखा है कैसे
लिपटना ।
पुस्तकों से सीखा कैसे
प्रेम करना, और उस
प्रेम के प्रवाह में कैसे बह जाना !
सुख से सीखा है
शोख न करना,
दुख से सीखा है
शोक न करना न जाने क्या क्या सीखा है हमने, फिर भी ए
ज़िंदगी समझ न पाया मैं ,
सीखना था
जरूरी ? या थी
मजबूरी ? ! ~ या.रा